उत्तराखंड में 13 हजार से अधिक सीएससी बदल रहे गांवों की तस्वीर
देहरादून: मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने शुक्रवार को आईआरडीटी ऑडिटोरियम, सर्वे चौक में आयोजित सीएससी (कॉमन सर्विस सेंटर) दिवस–2025 कार्यक्रम में प्रतिभाग किया। इस मौके पर उन्होंने सीएससी के क्षेत्र में उत्कृष्ट कार्य करने वाले संचालकों को वीएलई पुरस्कार से सम्मानित किया।
मुख्यमंत्री ने कहा कि सीएससी आज देश के कोने-कोने तक पहुंचकर आम जनता की आकांक्षाओं को पूरा कर रहा है और यह लोगों के विश्वास का केंद्र बन चुका है। सीएससी के जरिये शहरों की सुविधाएं गांव-गांव तक पहुंच रही हैं और ग्राम पंचायतें डिजिटल पंचायतों में बदल रही हैं। उन्होंने कहा कि उत्तराखंड जैसे पहाड़ी राज्य में सीएससी की भूमिका और भी महत्वपूर्ण हो जाती है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि ग्राम स्तर पर सीएससी संचालक न केवल लोगों का जीवन आसान बना रहे हैं, बल्कि गांव के भविष्य को भी संवार रहे हैं। डिजिटल सेवाओं को घर-घर पहुंचाने के साथ ही सीएससी ने रोजगार के अवसर भी पैदा किए हैं। राज्य में इस समय 13 हजार से अधिक सीएससी संचालित हो रहे हैं, जिनसे यूसीसी पंजीकरण, विभिन्न प्रमाण पत्र, डिजिटल ट्रांजेक्शन और अन्य सेवाएं दी जा रही हैं।
उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के डिजिटल इंडिया अभियान से गांव-गांव में डिजिटल क्रांति आई है। आज दुनिया में सबसे अधिक डिजिटल लेनदेन भारत में हो रहे हैं और देश की छोटी से छोटी दुकान भी डिजिटल हो चुकी है।
मुख्यमंत्री ने बताया कि आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस, क्लाउड कम्प्यूटिंग जैसी उन्नत तकनीकों को बढ़ावा दिया जा रहा है। सरकार डिजिटल और नवाचार को निरंतर प्रोत्साहित कर रही है। सरकारी सेवाओं को ई-गवर्नेंस के तहत ऑनलाइन कर सरल बनाया गया है। ई-टूरिज्म से ऑनलाइन बुकिंग को बढ़ावा मिला है और मौसम पूर्वानुमान व जलवायु के क्षेत्र में भी डेटा एनालिटिक्स व सैटेलाइट इमेजरी का उपयोग हो रहा है।
इस अवसर पर विधायक खजान दास, उमेश शर्मा काऊ, भगवान पाटिल, कृष्ण कुमार सिंह, अश्विनी कुमार सहित कई गणमान्य लोग उपस्थित रहे।